उत्तर प्रदेश सरकार का मंत्रिमंडल विधानसभा के अगले सत्र में पेश कर सकता है पंचायती राज अधिनियम में संशोधन का प्रस्ताव-सूत्र
वनांचल एक्सप्रेस ब्यूरो
भाजपा की योगी सरकार उत्तर प्रदेश पंचायतीराज अधिनियम में संशोधन कर त्रिस्तरीय पंचायतों में दो से अधिक बच्चे वालों को चुनाव लड़ने से रोक सकती है। सरकार में उच्च पदों पर बैठे सूत्रों के मुताबिक कैबिनेट जल्द ही इसका प्रस्ताव लाने वाला है। इसे विधानसभा के अगले सत्र में पेश किया जाएगा। प्रस्ताव में त्रिस्तरीय पंचायतों के विभिन्न पदों पर चुनाव लड़ने के लिए न्यूनतम योग्यता निर्धारित करने की भी तैयारी चल रही है। सूत्रों की मानें तो ग्राम पंचायत चुनाव में उम्मीदवारी के लिए महिला और आरक्षित वर्ग के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 8वीं पास होगी। 12वीं पास उम्मीदवार ही जिला पंचायत सदस्य का चुनाव लड़ सकेंगे। जिला पंचायत सदस्य पद पर महिला और आरक्षित वर्ग के व्यक्ति की उम्मीदवारी के लिए न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 10वीं पास होगी। क्षेत्र पंचायत सदस्य पद पर उम्मीदवारी के लिए भी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता 10वीं पास रखने पर सहमति बनी है।
सूत्रों का कहना है कि अब सूबे में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव अगले साल अप्रैल में होने की संभावना है। इसके पहले ही योगी सरकार पंचायती राज अधिनियम में संशोधन कर उसे लागू करेगी। उसके मुताबिक योगी मंत्रिमंडल का मानना है कि जनसंख्या नियंत्रण को प्रोत्साहित करने के लिए त्रिस्तरीय पंचायत चुनावों में उम्मीदवारी के लिए अधिकतम दो बच्चों की शर्त बहुत ही अच्छा कदम होगा। सूत्रों की मानें तो कोरोना वायरस से उपजे हालात की वजह से इस साल दिसंबर में होने वाले त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के लिए तैयारियां नहीं हो पाई हैं। इसलिए अगले साल अप्रैल में चुनावों के होने की संभावना है।
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